OLD Parliament House: पुराने संसद भवन के निर्माण में 97 साल पहले खर्च हुये थे इतने लाख रुपये, जिसका है प्राचीन इतिहास

OLD Parliament House: सोमवार को विशेष सत्र की कार्यवाही के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पुराने संसद भवन को औपचारिक विदाई दे दी है। पुराने संसद भवन में पीएम मोदी ने अपने भाषण में संसद के 75 साल की यात्रा के बारे में बताया।
इस दौरान उन्होंने संसद के अंदर लिए गए 370 समेत कई ऐतिहासिक फैसलों का जिक्र किया। उन्होंने अपने भाषण में कहा, ‘सदन ने देश को आगे बढ़ाने वाले फैसले लिए’। मंगलवार को विशेष सत्र के दूसरे दिन की कार्यवाही नए संसद भवन में शुरू होगी।
आइए जानते हैं कि संसद भवन को किसने बनाया था और इसे बनाने में कितनी लागत आई थी। देश का पुराना संसद भवन दुनिया में नक्काशी का एक प्रतीक है। 12 फरवरी 1921 को इसकी आधारशिला रखी गई थी।
इसे बनाने में लगभग 6 वर्षों का समय लगा था और यह 1927 में बनकर पूरी तरह से तैयार हुआ था। इसको अंग्रेजों ने बनावाया था और इसमें ब्रिटिश गवर्नमेंट की लेजिस्लेटिव असेंबली यानी विधान परिषद काम करती थी।
1947 में आजादी के बाद यह भारतीय संसद में तब्दील हो गई। पुरानी पार्लियामेंट बिल्डिंग को ब्रिटिश आर्केटेक्चर सर एडविन लुटियन्स और हर्बर्ट बेकर ने डिजाइन किया था। उस वक्त भवन को निर्माण में करीब 83 लाख रुपये की लागत आई थी।
बता दें कि लुटियन्स ने ही लाल किला, राष्ट्रपति भवन , इंडिया गेट और कनॉट प्लेस को बनाया था। पुरानी संसद भवन को भले ही ब्रिटिश आर्केटेक्चरों ने डिजाइन किया हो लेकिन इसे भारत के लोगों ने ही बनाया था।
बता दें कि ब्रिटिश विधान परिषद की तीसरी बैठक यानी साल 1929 में बटुकेश्वर दत्त और भगत सिंह ने इसी असेंबली के सेंट्रल हॉल में बम फेंका था। इस बम धमाके ने पूरे ब्रिटिश तंत्रों को झकझोर कर रख दिया था। यह बम विस्फोट पब्लिक सेफ्टी बिल के विरोध में किया गया था, जिसके पास होने के बाद मजदूरों हड़ताल का अधिकार छीन लिया जाता।