UP News: जिस किशोरी की हत्या के आरोप में 2 लोगों को हुई जेल, वह मिली नोएडा में
UP News: भदोही। गोपीगंज के सीखापुर गांव की जिस किशोरी की अपहरण कर हत्या मामले में दो आरोपित पांच माह की जेल काट चुके हैं वह शुक्रवार को नोएडा के बेवला क्षेत्र में जिंदा मिली। वहां वह नोवामैक्स कंपनी (गत्ता बनाने वाली कंपनी) में नौकरी करती थी।
झूठी कहानी गढ़ने के आरोप में मां-पिता गिरफ्तार
झूठी कहानी गढ़ने एवं साजिश करने के आरोप में गोपीगंज पुलिस ने मां गीता देवी और पिता श्याम किशोर पांडेय निवासी सीखापुर को शुक्रवार की रात गिरफ्तार कर लिया। इस मामले में सुरियावां के कस्तूरीपुर निवासी विष्णु कहार और चकमानधाता गांव के प्रदीप कुमार को नामजद किया गया था। दोनों पांच माह ज्ञानपुर जेल में रहे। अब वर्तमान में दोनों जमानत पर हैं।
किशोरी की ऐसे हुई गिरफ्तारी
उधर आरोपित के परिवार वाले एसपी को पहले ही पत्रक देकर मामले को फर्जी बता चुके थे। पुलिस ने लड़की के पिता का मोबाइल नंबर सर्विलांस पर डाल रखा था। एक सप्ताह पूर्व लड़की ने अपने पिता से बात की थी। पुलिस ने उस आधार पर लड़की को नोएडा से बरामद किया। कड़ाई से पूछताछ में किशोरी ने बताया कि वह माता-पिता बात करती थी। नोएडा में कार्टन बनाने वाली कंपनी में काम करती थी।
उसके पिता ने उसे बताया था कि जब वह कभी पकड़ी जाएगी तो आशीष पांडेय, ललित पांडेय, प्रदीप सेठ, डान मलिया, विष्णु कहार, बाबा मिश्र का ही नाम बताएगी। एसपी ने बताया कि नाबालिग के परिवार के लोगों को पूरी जानकारी थी कि वह ग्रेटर नोएडा में रह रही है। झूठी सूचना देकर मिथ्या साक्ष्य के आधार पर कथित आरोपितों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया था।
साजिश रचने के आरोप में दर्ज किया गया मुकदमा
साजिश रचने एवं झूठी प्राथमिकी दर्ज करने के आरोप में माता-पिता के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जेल भेज दिया गया। टीम में प्रभारी निरीक्षक सदानंद सिंह, उप निरीक्षक मोहम्मद शाबान, उप निरीक्षक रमेश प्रताप सिंह, महिला कांस्टेबल मनीषा और रीमा शामिल थीं।
अहम सवाल, कुएं मिली मृतका कौन
ऊंज थाना के मोहनपुर गांव के कुएं में मिले शव को लेकर लोगों के जेहन में अब नया सवाल उठने लगा है। कुएं में मिली मृतका कौन थी?सीखापुर से गायब किशोरी के जिंदा मिलने के बाद पुलिस भी हतप्रभ है। अब वह मृतका की जांच में जुटी है। कुएं में जिस महिला का शव मिला था, उसके स्वजन की तलाश की जा रही है।
निर्दोष आरोपितों को हो सकती थी जेल
निर्दोष नामजद आरोपितों को हो सकती थी उम्रकैद पुलिस ने सक्रियता दिखाई और निर्दोष नामजद आरोपितों को बचा लिया। जांच बंद कर दी गई होती तो निर्दोष दोनों आरोपितों को उम्रकैद हो सकती थी। किशोरी के माता-पिता ने पुरानी रंजिश के चलते दोनों आरोपितों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई थी। पूर्व प्रधान मेहीलाल का कहना है कि वह पहले से ही कह रहा था कि उसके लड़के को फर्जी तरीके से फंसाया गया है।
पुलिस अधीक्षक डा. अनिल कुमार ने बताया कि करीब साल भर पहले श्यामकिशोर पांडेय ने तहरीर दी कि उसकी नाबालिग पुत्री 14 मई 2022 को घर से शौच के लिए निकली थी लेकिन वापस नहीं आई। तहरीर पर पुलिस ने 16 मई 22 को मामला दर्ज किया और जांच शुरू कर दी।
7 मई 2022 को ऊंज थाना के मोहनपुर गांव के कुएं में अज्ञात लड़की का शव बरामद हुआ था। बरामद शव की शिनाख्त परिवार के लोगों ने अपहृत किशोरी के रूप में की। मामले में विष्णु कहार व प्रदीप कुमार को नामजद किया गया था। शव की पहचान में संदेह होने के बाद उसके माता-पिता का डीएनए परीक्षण मिलान के लिए ब्लड सेंपल विधि विज्ञान प्रयोगशाला गोरखपुर भेजा गया था। अब तक उसकी रिपोर्ट नहीं आई है।